Vol. 1 No. issue 8 ,Oct 2024 page 456-505 (2024): शिक्षकों की भूमिका और हिन्दी शिक्षण की समस्याएँ: जौनसार बावर क्षेत्र का समाजशास्त्रीय अध्ययन
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यह शोध पत्र उत्तराखंड राज्य के जौनसार-बावर क्षेत्र में उच्चतर माध्यमिक विद्यालयों में हिंदी विषय के शिक्षण और अधिगम से जुड़ी समस्याओं का समाजशास्त्रीय विश्लेषण प्रस्तुत करता है। हिंदी भाषा भारत के सांस्कृतिक और राष्ट्रीय पहचान की महत्वपूर्ण कड़ी है, जिसे स्वतंत्रता संग्राम से लेकर अब तक महात्मा गांधी, विद्यानिवास मिश्र, और विभिन्न शिक्षा आयोगों ने अपने वक्तव्यों और नीतियों में राष्ट्रीय संपर्क भाषा के रूप में प्रोत्साहित किया है। हालांकि हिंदी का महत्व लंबे समय से स्थापित है, फिर भी हिंदी शिक्षण में कई चुनौतियाँ बनी हुई हैं। इन चुनौतियों में क्षेत्रीय स्तर पर संसाधनों की कमी, शिक्षण पद्धतियों की अपर्याप्तता, और छात्र-शिक्षक संवाद में अड़चने शामिल हैं।
शोध में शिक्षा आयोगों, त्रिभाषा सूत्र और राष्ट्रीय शिक्षा नीति द्वारा हिंदी के संवर्धन हेतु की गई सिफारिशों की समीक्षा की गई है। इसके साथ ही क्षेत्रीय विद्यालयों में शिक्षकों और छात्रों के साथ बातचीत, पाठ्यक्रमों का विश्लेषण, तथा समाजशास्त्रीय दृष्टिकोण से हिंदी के प्रति विद्यार्थियों और अभिभावकों की मानसिकता का अवलोकन किया गया है।